बिहार। भागलपुर जिले में 250 करोड़ रुपये के फर्जीवाड़ा का मामला आया है। सरकारी राशि को एनजीओ के खाते में ट्रांसफर कर गबन किए जाने के इस मामले की जांच शुरू कर दी गई है। 250 करोड़ से ज्यादा के इस घोटाले की जांच के लिए ईओयू और वित्त विभाग के अधिकारी भागलपुर पहुंच गए हैं।
एडीजी मुख्यालय एसके सिंघल के मुताबिक गड़बड़ी 2008-09 से चल रही थी। हालांकि मामले का खुलासा कुछ दिनों पहले हुआ है। घटना के बाबत उन्होंने बताया कि भागलपुर जिला प्रशासन को विभिन्न योजनाओं की रकम सरकार द्वारा भेजी गई। जिला प्रशासन के बैंकों खातों में पहुंची रकम को प्रशासन द्वारा विभिन्न योजनाओं के लिए खोले गए सरकारी बैंक खातों में ट्रांसफर किया गया। घोटाले की नींव यहीं से पड़ी। फर्जी हस्ताक्षर कर इन बैंक खातों से रुपए सृजन नामक स्वयंसेवी संस्था के छह खातों में ट्रांसफर किए गए।
एडीजी के मुताबिक अबतक की छानबीन में जो बातें सामने आई हैं उससे घोटाला 250 करोड़ के आसपास का है। यह रकम बढ़ सकती है। पूरे घटनाक्रम को लेकर तीन एफआईआर दर्ज की गई है। फरवरी 2017 में सृजन एनजीओ की संचालिका मनोरमा देवी की मौत हो चुकी है। संचालिका की मौत के बाद ही चेक बाउंस की घटना होने लगी तभी मामले का खुलासा हुआ। आर्थिक अपराध इकाई के आईजी जेएस गंगवार के नेतृत्व में ईओयू और वित्त विभाग की टीम को मामले की जांच के लिए विमान से भागलपुर पहुंच चुकी है।