वाणिज्य और उद्योग राज्य मंत्री जितिन प्रसाद ने आज रोमानिया की मंत्री ओआना-सिल्विया तॉयू से बुखारेस्ट में मुलाकात की। इस बैठक में व्यापार को बढ़ाने, निवेश आकर्षित करने और मजबूत आपूर्ति श्रृंखलाओं को बनाने पर चर्चा की गई। दोनों नेताओं ने भारत-यूरोपीय संघ (ईयू) के आर्थिक ढांचे के तहत व्यापारिक संबंधों को और बेहतर बनाने के लिए अपने विचार साझा किए। साथ ही, दोनों देशों ने इस साल के भीतर एक न्यायसंगत, संतुलित और पारस्परिक रूप से लाभकारी भारत-ईयू मुक्त व्यापार समझौता (एफटीए) के समापन के लिए काम करने पर सहमति जताई।
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भारत-ईयू एफटीए की दिशा में कदम
बैठक के दौरान दोनों मंत्रियों ने भारत-ईयू मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) को आगे बढ़ाने के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने एक साझा प्रतिबद्धता व्यक्त की कि इस समझौते को निष्पक्ष और संतुलित तरीके से जल्द ही पूरा किया जाएगा। दोनों पक्षों ने इस एफटीए को निष्कलंक रूप से समाप्त करने के लिए आपसी सहमति की और इसे इस साल के भीतर पूरा करने की योजना बनाई। इस समझौते का उद्देश्य दोनों पक्षों के लिए पारस्परिक लाभ सुनिश्चित करना है और व्यापार व निवेश को बढ़ावा देना है।
भारत और रोमानिया के बीच व्यापार और निवेश संबंधों की समीक्षा
मुलाकात के दौरान भारत और रोमानिया के बीच व्यापार और निवेश संबंधों की स्थिर स्थिति की भी समीक्षा की गई। मंत्रालय ने जानकारी दी कि 2024-25 के वित्तीय वर्ष में भारत का रोमानिया के साथ निर्यात 1.03 बिलियन डॉलर तक पहुंच गया, जबकि 2023-24 में द्विपक्षीय व्यापार 2.98 बिलियन डॉलर रहा। इस वृद्धि से यह स्पष्ट होता है कि दोनों देशों के बीच व्यापारिक संबंध मजबूत हो रहे हैं और भविष्य में इन्हें और प्रगति मिलने की संभावना है।
दोनों पक्षों ने इन व्यापारिक रिश्तों को और गहरा करने और नए क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर भी चर्चा की। भारत के यूरोप में बढ़ते प्रभाव को देखते हुए रोमानिया को इस क्षेत्र में एक प्रमुख भागीदार के रूप में देखा जा रहा है।
सप्लाई-चेन कनेक्शन और निवेश साझेदारी को गहरा करना
बैठक में एक और अहम बिंदु यह था कि दोनों पक्षों ने प्राथमिक क्षेत्रों में सप्लाई-चेन कनेक्शन को गहरा करने की सहमति जताई। पेट्रोलियम उत्पादों, इंजीनियरिंग वस्त्रों, फार्मास्यूटिकल्स और सिरेमिक्स जैसे प्रमुख क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच सहयोग बढ़ाने की आवश्यकता जताई गई। यह क्षेत्र आर्थिक स्थिरता और व्यापार को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
इसके अतिरिक्त, दोनों पक्षों ने मानकों, परीक्षण और निवेश साझेदारियों में सहयोग बढ़ाने पर भी विचार किया। यह दोनों देशों के बीच व्यापार को बढ़ावा देने के लिए आवश्यक है और इससे बाजार में अधिक पहुंच प्राप्त की जा सकेगी। इन सप्लाई-चेन कनेक्शनों को मजबूत करके भारत और रोमानिया दोनों अपने व्यापारिक संबंधों को और स्थिर और कुशल बना सकते हैं।
जितिन प्रसाद और ओआना-सिल्विया तॉयू के बीच यह बैठक भारत और रोमानिया के व्यापार और निवेश संबंधों को और मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इन चर्चाओं ने यह दिखा दिया है कि दोनों देश एक मजबूत और समृद्ध व्यापारिक साझेदारी बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। भारत-ईयू मुक्त व्यापार समझौते और प्रमुख क्षेत्रों में सहयोग को ध्यान में रखते हुए, दोनों देशों के बीच भविष्य में सहयोग और बढ़ने की संभावना है। इन कदमों से न केवल भारत और रोमानिया के बीच व्यापारिक संबंधों को प्रगति मिलेगी, बल्कि यह भारत और यूरोपीय संघ के बीच व्यापक आर्थिक संबंधों को भी बढ़ावा देगा।



