संतोष कुमार गुप्ता
तेज गेंदबाज आशीष नेहरा के लिए इससे शानदार विदाई हो ही नही सकता।बल्लेबाज व गेंदबाजो ने इनको शानदार विदाई देने के लिए अपना सौ फीसदी टीम को दिया।आखिरी ओवर मे नेहरा भावुक हो गये।जीत मिलते ही इन्हे कंधा पर बैठा कर घुमाया गया। न्यूजीलैंड से टी-20 मैच भारतीय टीम ने अपने वरिष्ठ तेज गेंदबाज आशीष नेहरा के आखिरी अंतर्राष्ट्रीय मैच में उन्हें जीत के साथ विदाई देते हुए न्यूजीलैंड के खिलाफ टी-20 में अपनी पहली जीत दर्ज की है। भारत ने बुधवार को नेहरा के घरेलू स्टेडियम फिरोजशाह कोटला में खेले गए मैच में किवी टीम को 53 रनों से हराया। मेहमान टीम ने टॉस जीतकर भारत को बल्लेबाजी का आमंत्रण दिया जो उसके लिए उलटा साबित हुआ। रोहित शर्मा (80) और शिखर धवन (80) ने पहले विकेट के लिए 158 रनों की रिकार्ड साझेदारी करते हुए भारत को 20 ओवरों में तीन विकेट के नुकसान पर 202 रनों का विशाल स्कोर प्रदान किया।
किवी टीम इस विशाल लक्ष्य के सामने 20 ओवरों में आठ विकेट के नुकसान पर 148 रन ही बना सकी। इस जीत के साथ भारत ने तीन-टी-20 मैचों की सीरीज में 1-0 की बढ़त ले ली है। अपने आखिरी मैच में नेहरा एक भी विकेट नहीं ले सके। उन्होंने चार ओवरों में 29 रन दिए। नेहरा ने इस मैच में पहला और आखिरी ओवर डाला।
विशाल लक्ष्य का पीछा करने उतरी किवी टीम की शरुआत खराब रही। कप्तान कोहली ने दूसरे ओवर में ही गेंद लेग स्पिनर युजवेंद्र चहल को थमाई। माार्टिन गुप्टिल (4) ने समाने लंबा शॉट खेला, लेकिन हार्दिक पांड्या ने लोंग ऑफ की तरफ से दौड़ते हुए गेंद को नीचे गिरने से पहले डाइव लगाकर अपने हाथों में ले लिया। गुप्टिल छह रनों के कुल स्कोर पर आउट हुए।
चौथा ओवर डालने आए भुवनेश्वर कुमार ने बेहतरीन यॉर्कर से कोलिन मुनरो (7) की पारी का अंत किया। इससे पहले नेहरा की गेंद पर पांड्या ने मुनरो का मुश्किल कैच नेहरा की गेंद पर छोड़ा था। कोहली ने भी नेहरा के तीसरे ओवर में केन विलियमसन का मुश्किल कैच छोड़ा। इस समय विलियमसन का निजी स्कोर 21 रन था जबकि टीम का कुल स्कोर 40। हालांकि विलियमसन इस जीवनदान का फायदा नहीं उठा पाए और पांड्या की गेंद पर विकेट के पीछे महेंद्र सिंह धौनी के हाथों लपके गए। पांड्या ने अपने पहले ओवर की पहली गेंद पर विकेट हासिल किया।
यहां से किवी टीम लगातार विकेट खोती रही। टॉम ब्रूस (10), कोलिन ग्रांडहोमे (0), हेनरी निकोलस (6), टिम साउदी (8) जल्दी-जल्दी आउट हो गए। मिशेल सैंटनर 27 और ईश सोढ़ी 11 रनों पर नाबाद रहे। भारत की तरफ से अक्षर पटेल और युजवेंद्र चहल ने दो-दो विकेट लिए। जसप्रीत बुमराह, भुवनेश्वर कुमार, हार्दिक पांड्या ने एक-एक विकेट लिया। नेहरा आखिरी मैच में एक भी विकेट नहीं ले पाए।
इससे पहले, रोहित और धवन ने टीम को अच्छी शुरूआत दी। हालांकि दोनों को जीवनदान भी मिले। दूसरे ओवर में मिशेल सेंटनर ने प्वाइंट पर ट्रेंट बोल्ट की गेंद पर धवन का कैच छोड़ा। टिम साउदी ने 47 के कुल स्कोर पर रोहित को लॉन्ग ऑफ पर कोलिन डी ग्रांडहोमे की गेंद पर जीवनदान दिया।
इन दोनों की जोड़ी ने सातवें ओवर में ही टीम को 50 के आंकड़े तक पहुंचा दिया था। किवी गेंदबाज अपनी गेंदबाजी पर नियंत्रण नहीं रख पाए और भारतीय बल्लेबाजों को आसानी से रन देते रहे। पारी का पहला ओवर डालने वाले मिशेल सैंटनर ही इन दोनों पर कुछ लगाम लगा पाए। बाकी के गेंदबाजों को इस जोड़ी ने जमकर धोया।
धवन ने 12वें ओवर की दूसरी गेंद पर अपने पचास रन पूरे किए जिसके लिए उन्होंने 37 गेंदों का सामना किया। रोहित ने 15वें ओवर की दूसरे गेंद पर सैंटनर पर शानदार छक्का मारते हुए अपना अर्धशतक पूरा किया जिसके लिए उन्होंने 42 गेंदें लीं। यह भारत की टी-20 में किसी भी विकेट के लिए सबसे बड़ी साझेदारी है। इससे पहले रोहित ने कोहली के साथ 2015 में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ दूसरे विकेट के लिए धर्मशाला में 139 रन जोड़े थे।
इस साझेदारी को ईश सोढ़ी ने तोड़ा। धवन ने सोढ़ी की गेंद पर निकल कर मारने की कोशिश की लेकिन चूक गए और लाथम ने उनकी गिल्लियां बिखेरीं। धवन ने 52 गेंदों की पारी में 10 चौके और दो छक्के लगाए। एक गेंद बाद ही सोढ़ी ने हार्दिक पांड्या को बिना खाता खोले पवेलियन भेज दिया।
रोहित को बोल्ट ने 19वें ओवर की आखिरी गेंद पर आउट किया। मैदानी अंपायरों ने फैसला तीसरे अंपायर पर छोड़ा जिन्होंने रोहित को नॉट आउट करार दिया। लेकिन, किवी टीम ने फिर रिव्यू लिया जिसमें तीसरे अंपयार ने अपना फैसला बदलते हुए रोहित को आउट दिया।
रोहित ने 55 गेंदों में चार छक्के और छह चौके लगाए। कोहली 11 गेंदों में तीन छक्के लगाकर 23 रन बनाकर नाबाद लौटे। धौनी एक छक्के की मदद से सात रनों पर नाबाद रहे। किवी टीम की तरफ से सोढ़ी ने दो जबकि बोल्ट ने एक विकेट लिया।
This post was published on %s = human-readable time difference 13:50
7 दिसंबर 1941 का पर्ल हार्बर हमला केवल इतिहास का एक हिस्सा नहीं है, यह… Read More
सफेद बर्फ की चादर ओढ़े लद्दाख न केवल अपनी नैसर्गिक सुंदरता बल्कि इतिहास और संस्कृति… Read More
आजादी के बाद भारत ने लोकतंत्र को अपनाया और चीन ने साम्यवाद का पथ चुना।… Read More
मौर्य साम्राज्य के पतन की कहानी, सम्राट अशोक के धम्म नीति से शुरू होकर सम्राट… Read More
सम्राट अशोक की कलिंग विजय के बाद उनका जीवन पूरी तरह से बदल गया। एक… Read More
KKN लाइव के इस विशेष सेगमेंट में, कौशलेन्द्र झा मौर्यवंश के दूसरे शासक बिन्दुसार की… Read More