KKN Special

भूख और प्यास से तड़प रहे हैं बाढ़ से विस्थापित हुए लोग

मीनापुर में छलावा साबित हुआ सरकारी मदद का दावा

कौशलेन्द्र झा
मीनापुर प्रखंड मुख्यालय से करीब सात किलोमिटर दूर ब्रहण्डा गांव की रेहाना खातुन का चापाकल बाढ़ की पानी में पूरी तरीके से डूब चुका है। बावजूद इसके वह इसी चापाकल से पीने का पानी निकालने को विवश है। फिलहाल, घर में चार फीट पानी जमा है और रेहाना अपने पांच बच्चो के साथ पिछले 24 घंटे से छत पर खुले में जीवन बीता रही है। यहां रेहाना अकेली नही है। बल्कि, इसके जैसे दो दर्जन से अधिक परिवार है, जो बाढ़ का पानी पी कर बीमार हो रहें हैं।
अचानक तीन से चार फीट पानी गांव में प्रवेस कर जाने से 25 परिवार के करीब 90 से अधिक लोग उर्दू विद्यालय में शरण लिए हुए है। इन विस्थापितो के समक्ष पेयजल के साथ- साथ भोजन की समस्या भी है। छोटो छोटे बच्चो को खिलाने के लिए इनके पास कुछ नही है। गांव के समाजसेवी पूर्व मुखिया मो. सदरूल खान ने बताया कि गांव के लोग पिछले तीन रोज से बाढ़ में फंसे है। बावजूद इसके अभी तक प्रशासन की ओर कोई भी सुधि लेने नही आया है।
यही हाल शहीद जुब्बा सहनी के पैतृक गांव चैनपुर में देखने को मिला। यहां की करीब दो हजार आबादी पिछले 36 घंटे से बाढ़ के बीच फंसे हैं। गांव का प्रखंड मुख्यालय से संड़क संपर्क टूट चुका है। सैकड़ो घरो में तीन से चार फीट पानी बह रहा है। गांव की राजकुमारी देवी अपने मवेशी और पुरे परिवार के साथ एक फटे हुए प्लास्टिक के नीचे गुजर बसर कर रही है। मुखिया अजय कुमार बतातें हैं कि बार बार गुहार लगाने के बाद भी प्रशासन की ओर से कोई मदद नही मिल रहा है। कहतें है कि इस तरह की समस्या झेल रहा, ब्रहण्डा या चैनपुर अकेला नही है। मीनापुर की 154 में से 136 गांव के लोग कमोवेश इसी तरह की समस्या से जूझ रहें हैं।
दूसरी ओर अपने अपने गांव से भाग कर मीनापुर शिवहर मार्ग पर शरण लिए सैकड़ो लोगो के समक्ष सिर ढ़कने के साथ- साथ भोजन और पेयजल की समस्या से जूझ रहें हैं। सड़क पर शरण लिए पुरैनिया के सोनेलाल गोसाई, नागेन्द्र साह व चन्द्रिका साह ने बताया कि प्रशासन द्वारा अभी तक सिर ढ़कने का कोई इंतजाम नही हुआ है। लिहाजा खुले आसमान में रहना पड़ रहा है। हरिनारायण सहनी ने मीडिया कर्मियों के समक्ष हाथ जोड़ कर बताया कि- मालिक खाना खाय हुए दो रोज हो गया। आज सुवह मकई का सतुआ खाएं हैं। सुमित्रा देवी, शिवदुलारी देवी, मानती देवी व शंभु मांझी सहित यहां कई दर्जन लोग भूख से तड़प रहें हैं। मानती देवी अपने तीन पुतोहू के साथ खुले में रह रही है। उसे अभी तक प्लास्टिक नही मिला है। यहां पीने का शुद्ध पानी भी उपलब्ध नही है।
इसी प्रकार घोसौत, झोंझा, तुर्की, हरशेर, टेंगरारी, शीतलपट्टी, बेलाहीलच्छी, रानीखैरा, बनुआ, उफरौलिया, भटौलिया, चांदपरना, राघोपुर, फुलवरिया, अस्तालकपुर, विशुनपुर, हरका, तालिमपुर, हथियावर, गंगटी, टेंगराहां, गोरीगामा, नंदना, भावछपरा, चतुरसी सहित यहां की करीब पांच दर्जन से अधिक गांव पुरी तरीके से जलमग्न हो चुका है और गांव का प्रखंड प्रखंड मुख्यालय से सड़क संपर्क टूट जाने से उन तक कोई भी मदद नही पहुंच पा रहा है।

This post was published on %s = human-readable time difference 21:56

KKN लाइव WhatsApp पर भी उपलब्ध है, खबरों की खबर के लिए यहां क्लिक करके आप हमारे चैनल को सब्सक्राइब कर सकते हैं।

Show comments
Published by
कौशलेन्‍द्र झा

Recent Posts

  • Videos

पर्ल हार्बर से मिडिल ईस्ट तक: इतिहास की पुनरावृत्ति या महाविनाश का संकेत?

7 दिसंबर 1941 का पर्ल हार्बर हमला केवल इतिहास का एक हिस्सा नहीं है, यह… Read More

नवम्बर 20, 2024
  • Videos

लद्दाख की अनकही दास्तां: हिमालय की गोद में छिपे राज़ और संघर्ष की रोचक दास्तान

सफेद बर्फ की चादर ओढ़े लद्दाख न केवल अपनी नैसर्गिक सुंदरता बल्कि इतिहास और संस्कृति… Read More

नवम्बर 13, 2024
  • Videos

भारत बनाम चीन: लोकतंत्र और साम्यवाद के बीच आर्थिक विकास की अनकही कहानी

आजादी के बाद भारत ने लोकतंत्र को अपनाया और चीन ने साम्यवाद का पथ चुना।… Read More

नवम्बर 6, 2024
  • Videos

मौर्य वंश के पतन की असली वजह और बृहद्रथ के अंत की मार्मिक दास्तान…

मौर्य साम्राज्य के पतन की कहानी, सम्राट अशोक के धम्म नीति से शुरू होकर सम्राट… Read More

अक्टूबर 23, 2024
  • Videos

सम्राट अशोक के जीवन का टर्निंग पॉइंट: जीत से बदलाव तक की पूरी कहानी

सम्राट अशोक की कलिंग विजय के बाद उनका जीवन पूरी तरह से बदल गया। एक… Read More

अक्टूबर 16, 2024
  • Videos

बिन्दुसार ने चाणक्य को क्यों निकाला : मौर्यवंश का दूसरा एपीसोड

KKN लाइव के इस विशेष सेगमेंट में, कौशलेन्द्र झा मौर्यवंश के दूसरे शासक बिन्दुसार की… Read More

अक्टूबर 9, 2024