सीतामढ़ी में दुखद हादसा: बागमती नदी में डूबे एक ही परिवार के 4 लोग

Tragic Incident in Sitamarhi: Four Family Members Drown in Baghmati River

KKN गुरुग्राम डेस्क | सीतामढ़ी जिले से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जिसमें एक ही परिवार के चार सदस्य बागमती नदी में डूब गए। यह हादसा शुक्रवार, 17 अप्रैल 2025 को सुबह के समय हुआ। घटना सीतामढ़ी के सुप्पी थाना क्षेत्र के अख्ता घाट पर घटी। हादसे में एक महिला और उसकी दो बेटियां शामिल हैं, जबकि महिला के पति ने तैरकर अपनी जान बचाई। घटना की जानकारी मिलते ही आसपास के लोग जुट गए और बचाव कार्य शुरू किया।

यह हादसा स्थानीय समुदाय में गहरी शोक की लहर लेकर आया है और लोगों ने इस दुखद घटना को लेकर गहरी चिंता जताई है।

अख्ता घाट पर हुई घटना का विवरण

घटना सुबह के समय अख्ता घाट पर घटी, जो बागमती नदी के किनारे स्थित है। जानकारी के अनुसार, 27 वर्षीय महिला नाजमी खातून अपनी दो बेटियों के साथ नदी के किनारे पर मौजूद थी। अचानक उनकी बेटियां और नाजमी नदी में गिर गए और तेज धारा में बहने लगे। महिला का पति मोहम्मद तौसीर भी उसी समय नदी के पास मौजूद था, लेकिन वह तैरकर किसी तरह सुरक्षित किनारे पर आ गया।

घटना के बाद घाट पर मौजूद कुछ स्थानीय लोग शोर मचाते हुए घटनास्थल पर पहुंचे और उन्होंने पुलिस को सूचित किया। साथ ही, कुछ ग्रामीणों ने मिलकर बचाव कार्य शुरू किया और दो शवों को नदी से बाहर निकाला। हालांकि, महिला की एक बेटी अब भी लापता है और उसकी तलाश जारी है।

मृतकों की पहचान और बचाव कार्य

घटनास्थल पर पहुंचे स्थानीय पुलिस और ग्रामीणों के साथ मिलकर शवों को नदी से बाहर निकाला गया। मृतकों की पहचान 27 वर्षीय नाजमी खातून और उनकी 2 वर्षीय बेटी नायरा खातून के रूप में हुई है। साथ ही, 5 वर्षीय बेटी तौसीर खातून की तलाश अभी भी जारी है। पुलिस और स्थानीय प्रशासन ने मिलकर सर्च ऑपरेशन चलाया हुआ है, ताकि लापता बच्ची को खोजा जा सके।

नाजमी के पति मोहम्मद तौसीर ने अपनी पत्नी और बेटियों को बचाने का भरसक प्रयास किया, लेकिन नदी की तेज धारा के कारण वह अपनी जान नहीं बचा सके। हालांकि, वह खुद तैरकर सुरक्षित बाहर निकलने में कामयाब रहे। घटना के बाद तौसीर परिवार के अन्य सदस्यों के साथ गहरे सदमे में हैं।

लापता बच्ची की तलाश जारी

फिलहाल, पुलिस और स्थानीय लोग मिलकर 5 साल की बच्ची तौसीर खातून की तलाश में जुटे हैं। नदी के आसपास के क्षेत्रों में खोजी अभियान चलाया जा रहा है, जिसमें पुलिस और नागरिक दोनों मिलकर अपने प्रयासों को बढ़ा रहे हैं। लोग उम्मीद कर रहे हैं कि जल्द ही इस बच्ची को ढूंढ निकाला जाएगा।

स्थानीय प्रशासन और पुलिस ने अपनी पूरी कोशिश की है और खोज अभियान जारी रखने का भरोसा दिलाया है। साथ ही, बागमती नदी के किनारे सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाने और ऐसे हादसों से बचने के लिए सरकार से उचित कदम उठाने की अपील भी की है।

स्थानीय पुलिस और प्रशासन की प्रतिक्रिया

स्थानीय पुलिस ने घटनास्थल पर पहुंचने के बाद स्थिति का जायजा लिया और शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस अधिकारी ने कहा, “हम पूरी तरह से स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं और खोजी अभियान जारी है। स्थानीय लोगों और अधिकारियों के बीच सामूहिक प्रयासों से लापता बच्ची की तलाश की जा रही है।”

इसके अलावा, प्रशासन ने स्थानीय लोगों से यह अपील की है कि वे नदी के किनारे जाने में सावधानी बरतें, खासकर बारिश के दिनों में जब नदी का पानी बढ़ जाता है और पानी की धारा तेज होती है। पुलिस ने नदी किनारे सुरक्षा संकेतक लगाने और सावधानी बरतने की आवश्यकता पर बल दिया है।

स्थानीय समुदाय का सहयोग और शोक

घटना के बाद, स्थानीय समुदाय और ग्रामीणों ने शोक व्यक्त किया है और प्रभावित परिवार को अपना समर्थन दिया है। घटना की जानकारी मिलने के बाद क्षेत्र के कई नेताओं और नागरिकों ने भी परिवार के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त की। ग्रामीणों ने मिलकर लापता बच्ची की तलाश में अपने प्रयासों को तेज किया है और सभी ने मिलकर राहत कार्य में मदद की।

नाजमी और उनकी बेटी नायरा के निधन से पूरा गांव स्तब्ध है। स्थानीय लोग इस हादसे को एक बड़ी त्रासदी मानते हैं और दुखी परिवार के साथ खड़े हैं। इसके साथ ही, स्थानीय नेताओं और नागरिकों ने नदी किनारे सुरक्षा के उपायों की आवश्यकता पर जोर दिया है ताकि भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं से बचा जा सके।

नदी किनारे सुरक्षा पर जोर

यह दुखद घटना नदी किनारे सुरक्षा की आवश्यकता को फिर से उजागर करती है। बागमती नदी की तेज धारा और बढ़ते जलस्तर के कारण इस प्रकार की घटनाएं अक्सर होती रही हैं। प्रशासन और स्थानीय लोगों का कहना है कि नदी किनारे सुरक्षा संकेतक लगाए जाने चाहिए, ताकि लोग सावधानी बरतें और इस तरह के हादसों से बचा जा सके।

इसके अलावा, बच्चों और परिवारों को नदी के पास जाते समय सतर्क रहने की आवश्यकता है। विशेष रूप से बारिश के मौसम में नदी का जलस्तर अचानक बढ़ जाता है, जिससे हादसे की संभावना बढ़ जाती है। इसलिए नदी के आसपास सुरक्षा उपायों को प्राथमिकता देनी चाहिए।

सीतामढ़ी में घटित यह हादसा हमें यह सिखाता है कि हमें पानी के पास जाते समय पूरी सावधानी बरतनी चाहिए। विशेष रूप से बच्चों के साथ परिवारों को नदी के किनारे ज्यादा सतर्क रहना चाहिए। स्थानीय प्रशासन को नदी किनारे सुरक्षा उपायों को बढ़ाना चाहिए ताकि इस तरह के हादसों से बचा जा सके।

फिलहाल, सीतामढ़ी प्रशासन और स्थानीय लोग 5 साल की बच्ची की तलाश में जुटे हैं। इस हादसे ने न केवल परिवार को बल्कि पूरे समुदाय को शोक में डुबो दिया है। हमें उम्मीद है कि जल्द ही लापता बच्ची का पता चल जाएगा और उसे सुरक्षित रूप से परिवार के पास लौटाया जा सकेगा।


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