आठ महीने बाद भी खाया जा सकता है लिट्टी

रेडिएशन ट्रीटमेंट तकनीक का भारत में हुआ इजाद

बिहार। भाभा परमाणु अनुसंधान केन्द्र (बार्क) के खाद्य एवं तकनीकी विभाग के वैज्ञानिको ने लीची के बाद अब बिहार की मशहूर लिट्टी का प्रोसेसिंग करने में सफलता हासिल की है। प्रोजेक्ट से जुड़े वैज्ञानिको की माने तो एक बार तैयार लिट्टी प्रोसेसिंग के आठ महीने बाद तक खाया जा सकता है। वैज्ञानिकों ने कहा कि उनकी खास रेडिएशन ट्रीटमेंट तकनीक से तैयार लिट्टी आठ महीने तक मुलायम और वैसी ही स्वाद वाली बनी रहेगी, जैसी बनाते समय थी। इससे आपदा के समय अब खाद्द सामग्रियों की किल्लत नही होगी। बतातें चलें कि अमेरिका से भारत आने वाला आम, अनार आदि फलो पर भी रेडिएशन ट्रीटमेंट का इस्तेमाल किया जाता है।

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