श्रीनगर में 26 मार्च से खुलेगा एशिया का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन, 74 किस्मों के फूलों का होगा दीदार

Asia's Largest Tulip Garden to Open in Srinagar on March 26th, Visitors Can Experience 74 Varieties of Flowers

KKN गुरुग्राम डेस्क | श्रीनगर, जम्मू और कश्मीर – फूलों के शौकिनों के लिए एक खुशखबरी है। एशिया का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन, जो श्रीनगर में स्थित है, 26 मार्च 2025 से आम जनता के लिए खोला जाएगा। यह गार्डन डल झील और जबरवान पहाड़ियों के बीच स्थित है और कश्मीर घाटी में पर्यटन सीजन की शुरुआत का प्रतीक बनता है। अधिकारियों के मुताबिक, इस सीजन में बड़ी संख्या में पर्यटकों के आने की उम्मीद है। इस गार्डन में इस साल 74 किस्मों के ट्यूलिप खिलेंगे, जिनमें दो नई किस्में भी जोड़ी गई हैं।

श्रीनगर ट्यूलिप गार्डन का महत्व

एशिया का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन न केवल कश्मीर की प्राकृतिक सुंदरता को प्रदर्शित करता है, बल्कि यह जम्मू और कश्मीर की पर्यटन इंडस्ट्री के लिए भी एक महत्वपूर्ण योगदान है। हर साल हजारों की संख्या में पर्यटक इस गार्डन को देखने के लिए श्रीनगर आते हैं। रंग-बिरंगे ट्यूलिपों का नजारा, जो घाटी की वादियों में खिलते हैं, पर्यटकों के लिए एक आकर्षक अनुभव होता है। यह गार्डन इस साल भी पर्यटकों के लिए एक शानदार जगह बनेगा, जहां वे इन खूबसूरत फूलों का आनंद ले सकेंगे।

ट्यूलिप गार्डन में इस साल की नई किस्में

इस साल, श्रीनगर के ट्यूलिप गार्डन में दो नई किस्मों के ट्यूलिप लगाए गए हैं। एसीफ अहमद, सहायक पुष्पकृषि अधिकारी, ने बताया कि इस वर्ष गार्डन में कुल 74 किस्मों के ट्यूलिप होंगे। उन्होंने कहा कि हर साल ट्यूलिप गार्डन को नया रूप देने की कोशिश की जाती है, और इस साल दो नई किस्मों का जुड़ना इस गार्डन को और भी आकर्षक बनाता है। यह नए फूल न केवल गार्डन को और सुंदर बनाएंगे, बल्कि पर्यटकों के लिए एक नई देखने की जगह भी होगी।

ट्यूलिप गार्डन का इतिहास

“इंदिरा गांधी मेमोरियल ट्यूलिप गार्डन”, जिसे पहले “सिराज बाग” के नाम से जाना जाता था, 2007 में स्थापित किया गया था। जम्मू और कश्मीर के तत्कालीन मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद ने इसका उद्घाटन किया था। इस गार्डन की स्थापना का मुख्य उद्देश्य राज्य के पर्यटन सीजन को बढ़ाना था। पहले जम्मू और कश्मीर का पर्यटन सीजन मुख्य रूप से गर्मियों और सर्दियों तक ही सीमित रहता था, लेकिन इस गार्डन के खुलने से अब यह सीजन विस्तार पा चुका है।

2007 में गार्डन की स्थापना के बाद से यह एक प्रमुख पर्यटक स्थल बन चुका है और यहां हर साल लाखों पर्यटक आते हैं। गार्डन के खुलने से कश्मीर के पर्यटन उद्योग को नया जीवन मिला है और यह पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ है।

कश्मीर के पर्यटन में बदलाव

कश्मीर का पर्यटन परंपरागत रूप से गर्मी और सर्दी के महीनों में उच्च रहता था। लेकिन अब ट्यूलिप गार्डन ने इस परंपरा को बदल दिया है। ट्यूलिप गार्डन का उद्घाटन हर साल कश्मीर के पर्यटन सीजन की शुरुआत को चिह्नित करता है, और इस वर्ष इसे और भी खास बनाने के लिए नए फूलों की किस्मों को जोड़ा गया है। इस गार्डन का आकर्षण न केवल भारत, बल्कि विदेशों से भी पर्यटकों को आकर्षित करता है।

ट्यूलिप गार्डन और पर्यावरणीय लाभ

यह ट्यूलिप गार्डन पर्यावरण के लिए भी महत्वपूर्ण है। जहां एक ओर यह कश्मीर के पर्यटन उद्योग को बढ़ावा देता है, वहीं दूसरी ओर यह जैव विविधता को बनाए रखने में भी मदद करता है। ट्यूलिप जैसे फूल जो ठंडी जलवायु में उगते हैं, कश्मीर की प्राकृतिक पारिस्थितिकी में योगदान करते हैं। गार्डन में आने वाले पर्यटक न केवल ट्यूलिप का आनंद लेते हैं, बल्कि इस तरह के प्रयासों को देखकर पर्यावरण के प्रति जागरूकता भी बढ़ाते हैं।

इसके अलावा, गार्डन के खुलने से पर्यटकों को अन्य प्राकृतिक सौंदर्य स्थलों को भी देखने का मौका मिलता है, जैसे कि डल झील, शंकराचार्य मंदिर, और कश्मीर के प्रसिद्ध हिल स्टेशनों का दौरा। इस तरह कश्मीर का पूरा इलाका पर्यटकों के लिए एक संपूर्ण यात्रा अनुभव प्रदान करता है।

गार्डन का रखरखाव और विकास

गार्डन को बनाए रखने के लिए फ्लोरीकल्चर विभाग की टीम साल भर काम करती है। विभाग ट्यूलिप की गांठों को चरणबद्ध तरीके से लगाता है, ताकि फूल एक महीने या उससे अधिक समय तक खिले रहें। इससे यह सुनिश्चित होता है कि पर्यटकों को लंबे समय तक ट्यूलिप देखने का अवसर मिले। हर साल विभाग कुछ नया करने की कोशिश करता है, जिससे गार्डन में आने वाले पर्यटकों को नई और आकर्षक किस्में देखने को मिलती हैं।

जम्मू और कश्मीर में पर्यटन का भविष्य

जम्मू और कश्मीर में पर्यटन की संभावनाएं निरंतर बढ़ रही हैं। सरकार और स्थानीय प्रशासन ने पर्यटकों के अनुभव को बेहतर बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं, जैसे बेहतर परिवहन सुविधाएं, रिसॉर्ट्स, और गाइडेड टूर। ट्यूलिप गार्डन जैसे प्रोजेक्ट्स से यह स्पष्ट होता है कि कश्मीर में पर्यटकों के लिए अनगिनत आकर्षण हैं।

इस वर्ष ट्यूलिप गार्डन का उद्घाटन एक नए अध्याय की शुरुआत है, जहां कश्मीर के पर्यटन को और भी अधिक बढ़ावा मिलेगा। यहां के प्राकृतिक सौंदर्य को और अधिक लोगों तक पहुंचाने के लिए नए प्रयास किए जा रहे हैं। साथ ही, कश्मीर में पर्यावरणीय और सांस्कृतिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भी कई कदम उठाए जा रहे हैं।

कश्मीर का पर्यटन उद्योग और इसे बढ़ावा देने के प्रयास

कश्मीर का पर्यटन उद्योग अब नए रास्ते पर है। यहां पर्यटकों के लिए कई नए और रोमांचक अनुभव तैयार किए जा रहे हैं। सरकार ने कई पहल की हैं, जिनमें नई पर्यटन परियोजनाओं का निर्माण, पर्यटकों के लिए सुविधाओं का विस्तार, और कश्मीर की सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करने के लिए कार्यक्रमों का आयोजन शामिल है।

कश्मीर का पर्यटन केवल गर्मियों और सर्दियों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि अब इसे साल भर एक प्रमुख पर्यटक स्थल के रूप में देखा जाएगा। ट्यूलिप गार्डन जैसे आकर्षण कश्मीर की पर्यटन इमेज को बेहतर बनाने में मदद कर रहे हैं, और आने वाले वर्षों में और अधिक पर्यटकों को आकर्षित करेंगे।

कश्मीर का ट्यूलिप गार्डन, जो एशिया का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन है, श्रीनगर में एक प्रमुख पर्यटक आकर्षण बन चुका है। यह गार्डन न केवल कश्मीर की प्राकृतिक सुंदरता का प्रतीक है, बल्कि यह राज्य के पर्यटन उद्योग को भी एक नया दिशा दे रहा है। 26 मार्च 2025 को गार्डन का उद्घाटन कश्मीर के पर्यटन को एक नई ऊंचाई तक पहुंचाएगा। पर्यटकों को 74 किस्मों के ट्यूलिप देखने का मौका मिलेगा, और इस नए सीजन के साथ कश्मीर में एक नया जीवन और ऊर्जा आएगी।

अगर आप कश्मीर के प्राकृतिक सौंदर्य का अनुभव करना चाहते हैं, तो श्रीनगर का ट्यूलिप गार्डन इस साल आपकी यात्रा की सूची में जरूर होना चाहिए।

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