Entertainment

स्मृति ईरानी ने “क्योंकि सास भी कभी बहू थी” के 25 साल पूरे होने पर दिल छू लेने वाली पोस्ट लिखी

Published by

भारतीय टीवी जगत की प्रमुख हस्ती स्मृति ईरानी ने हाल ही में अपनी सोशल मीडिया पर एक भावुक पोस्ट लिखी, जिसमें उन्होंने क्योंकि सास भी कभी बहू थी के 25 साल पूरे होने पर अपनी खुशी और उस शो के महत्व को साझा किया। इस शो ने भारतीय टेलीविजन को पूरी तरह से बदल दिया था और आज भी वह दर्शकों के दिलों में अपनी खास जगह बनाए हुए है।

क्योंकि सास भी कभी बहू थी भारतीय टेलीविजन का एक सांस्कृतिक प्रतीक बन चुका है, जो 2000 में प्रसारित हुआ था। इस शो ने भारतीय टीवी पर सास-बहू ड्रामा की परिभाषा बदल दी और स्मृति ईरानी को तुलसी वीरानी के रूप में एक बेहद प्रसिद्ध और सम्मानित किरदार दिया। इस शो के 25 साल पूरे होने पर स्मृति ने अपने अनुभवों और उस समय को याद करते हुए एक दिल छूने वाला संदेश लिखा।

क्योंकि सास भी कभी बहू थी: भारतीय टीवी पर एक ऐतिहासिक शो

स्मृति ईरानी ने अपनी पोस्ट में उस समय को याद किया जब यह शो हर भारतीय परिवार का हिस्सा बन गया था। यह शो केवल एक मनोरंजन कार्यक्रम नहीं था, बल्कि यह भारतीय परिवारों का एक परंपरा बन गया था, जहां हर शाम परिवार के सदस्य अपनी दिनचर्या को थामकर टीवी के सामने बैठते थे। उस समय क्योंकि सास भी कभी बहू थी ने भारतीय टेलीविजन को एक नया आयाम दिया और इसके किरदार, कथानक और संवेदनशीलता ने लाखों दर्शकों को जोड़े रखा।

स्मृति ने लिखा, “यह विश्वास करना थोड़ा मुश्किल है कि इस शो को प्रसारित हुए 25 साल हो गए हैं। यह केवल एक शो नहीं था; यह एक संबंध था, एक कनेक्शन था और एक कारण था जिससे परिवार अपनी रोजमर्रा की जिंदगी में रुक कर हर शाम एक साथ बैठते थे। वह शामें कभी नहीं भूल सकतीं और मैं अपने सभी सह-कलाकारों और पूरी टीम का आभारी हूं जिन्होंने इस कहानी को जीवन में उतारा।”

क्योंकि सास भी कभी बहू थी ने न केवल टेलीविजन इंडस्ट्री को एक नई दिशा दी, बल्कि इसने भारतीय परिवारों को एक साथ बैठकर टेलीविजन देखने का आदत बनाई, जो अब भी कायम है। शो की कहानी, डायलॉग्स, और भावनाएं आज भी लोगों के दिलों में बसी हुई हैं।

तुलसी वीरानी: एक ऐसा किरदार जो दिलों में बस गया

तुलसी वीरानी का किरदार, जिसे स्मृति ईरानी ने निभाया, एक महिला के सबल और त्याग की तस्वीर था। इस किरदार ने न केवल भारतीय महिलाओं को एक नई पहचान दी, बल्कि यह भारतीय परिवारों की समाजिक संरचना और उनके संघर्षों को भी उजागर किया। स्मृति ईरानी ने इस किरदार को इतनी शिद्दत से निभाया कि आज भी उन्हें लोग तुलसी के नाम से ही पहचानते हैं।

स्मृति ने अपनी पोस्ट में लिखा, “तुलसी मेरे लिए केवल एक किरदार नहीं थी; वह मेरे अंदर समा चुकी थी और मैं उसके अंदर समा चुकी थी। वह एक ऐसी महिला थी जो समाज, परिवार और संवेदनाओं को जोड़ती थी। मैंने उसे अपनी जिंदगी का हिस्सा बना लिया और वह दर्शकों के दिलों में हमेशा के लिए बसी।”

स्मृति ईरानी का यह कहना था कि तुलसी के साथ उनके द्वारा बिताया गया समय उनके जीवन का सर्वश्रेष्ठ अनुभव था और इस किरदार के माध्यम से उन्होंने महिलाओं के अधिकार, समानता और परिवारिक मूल्यों की महत्वपूर्ण बातें सिखाई।

क्योंकि सास भी कभी बहू थी का सांस्कृतिक प्रभाव

क्योंकि सास भी कभी बहू थी ने भारतीय टेलीविजन के परिदृश्य को एक नया आकार दिया। इस शो ने परिवार और सास-बहू के रिश्ते को एक नए दृष्टिकोण से पेश किया और दर्शकों को यह दिखाया कि परिवार की मूल बातें केवल रिश्तों तक ही सीमित नहीं होतीं, बल्कि यह संवेदनाओं, त्याग और सबलता का प्रतीक भी होती हैं।

इस शो ने भारतीय टेलीविजन के परिवार ड्रामा को एक नई दिशा दी और दर्शकों के दिलों में लंबे समय तक अपनी जगह बनाई। इसका असर यह हुआ कि टीवी शो ने न केवल मनोरंजन किया, बल्कि वह सामाजिक बदलावों और संवेदनशीलता के विषयों पर भी खुलकर बात करने का मौका दिया।

वह वक्त और स्मृति ईरानी का प्रभाव

स्मृति ईरानी ने अपनी पोस्ट में यह भी कहा कि यह शो केवल उनके लिए नहीं, बल्कि पूरे टीवी इंडस्ट्री के लिए एक मील का पत्थर था। उन्होंने लिखा, “हम सब एक परिवार के रूप में काम करते थे और यह हमारा साझा सपना था कि हम दर्शकों के दिलों में अपनी जगह बनाए रखें। इस शो ने न केवल हमें सफलता दी, बल्कि हमें एक ऐसा मंच दिया जहां हम लोगों के साथ अपनी संवेदनाओं को साझा कर सकते थे।”

स्मृति ईरानी का यह संदेश एक आभार और कृतज्ञता का प्रतीक था, क्योंकि उन्होंने शो के निर्माण और उसके बाद अपनी सफलता का श्रेय अपनी टीम को दिया।

डिजिटल युग में क्यों याद किया जाता है शो

आज के डिजिटल युग में क्योंकि सास भी कभी बहू थी की यादें सोशल मीडिया, यूट्यूब और ऑनलाइन प्लेटफार्मों पर ताजगी के साथ जीवित हैं। पुराने एपिसोड्स और मीम्स आज भी लोगों द्वारा साझा किए जाते हैं और यह शो की ताकत को दिखाता है कि कैसे एक शो कई पीढ़ियों तक चलता है।

स्मृति ईरानी ने इस पर कहा, “शो खत्म हो गया हो सकता है, लेकिन इसका प्रभाव आज भी डिजिटल दुनिया में देखा जा सकता है। हम सभी को यह गर्व है कि शो ने कई जनरेशन को एक साथ जोड़ा और वह एक परिवार की तरह महसूस हुआ।”

स्मृति ईरानी का नया सफर: राजनीति से टीवी तक

स्मृति ईरानी ने टेलीविजन से राजनीति तक का सफर तय किया है, और वह आज भारतीय राजनीति का एक प्रमुख चेहरा बन चुकी हैं। हालांकि, उन्होंने अपनी राजनीतिक जिम्मेदारियों के बावजूद क्योंकि सास भी कभी बहू थी और अपने टेलीविजन करियर को कभी नहीं भुलाया।

उनकी यात्रा को देखना एक प्रेरणा है कि कैसे एक टीवी स्टार ने राजनीतिक क्षेत्र में अपनी पहचान बनाई। स्मृति ने यह स्वीकार किया कि उनका टेलीविजन करियर हमेशा उनके दिल के करीब रहेगा और क्योंकि सास भी कभी बहू थी उनके जीवन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बनेगा।

क्योंकि सास भी कभी बहू थी के 25 साल पूरे होने के इस अवसर पर स्मृति ईरानी ने शो के हर पहलू को याद किया और अपनी भावनाओं को साझा किया। इस शो का सांस्कृतिक प्रभाव, उसकी लोकप्रियता और भारतीय टेलीविजन पर इसके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा।

इसने सिर्फ मनोरंजन नहीं दिया, बल्कि भारतीय परिवारों को जोड़ने और रिश्तों की अहमियत को समझाने का एक माध्यम भी बना। स्मृति ईरानी की यह पोस्ट क्योंकि सास भी कभी बहू थी के 25 साल पूरे होने का सही सम्मान है और यह शो भारतीय टेलीविजन की हास्य, ड्रामा और संवेदनशीलता की परिभाषा को हमेशा जीवित रखेगा।

Read this article in

KKN लाइव WhatsApp पर भी उपलब्ध है, खबरों की खबर के लिए यहां क्लिक करके आप हमारे चैनल को सब्सक्राइब कर सकते हैं।

KKN Gurugram Desk

KKN गुरुग्राम डेस्क KKN Live की एक विशेष संपादकीय टीम है, जो राष्ट्रीय, व्यापार, तकनीक, और राजनीति से जुड़ी खबरों पर काम करती है। इस डेस्क के तहत प्रकाशित लेखों और रिपोर्ट्स को हमारी अनुभवी पत्रकारों की टीम मिलकर तैयार करती है। यह डेस्क उन समाचारों के लिए उपयोग की जाती है जो टीम प्रयास, एजेंसी इनपुट या साझा रिपोर्टिंग के आधार पर तैयार किए जाते हैं। KKN गुरुग्राम डेस्क यह सुनिश्चित करता है कि हर खबर विश्वसनीय, तथ्यपूर्ण, और तेज़ हो। आप अधिक जानकारी के लिए हमारी संपादकीय नीतियाँ और हमारी टीम पेज पर जा सकते हैं।

Share
Published by
Tags: ksbkbt Smriti Irani

Recent Posts

  • Muzaffarpur

बिहार में होमी भाभा कैंसर अस्पताल और अनुसंधान केंद्र का उद्घाटन

बिहार में कैंसर के इलाज के क्षेत्र में एक नया अध्याय शुरू हुआ है। प्रधानमंत्री… Read More

अगस्त 22, 2025 5:26 अपराह्न IST
  • Crime

मुंबई पुलिस ने 60 करोड़ रुपये के साइबर फ्रॉड रैकेट का भंडाफोड़ किया, 12 आरोपी गिरफ्तार

मुंबई पुलिस ने हाल ही में एक बड़े साइबर फ्रॉड रैकेट का खुलासा किया है,… Read More

अगस्त 22, 2025 5:13 अपराह्न IST
  • Society

Neuroscientist के सुझाए 5 Tips: सपनों को हकीकत बनाने का विज्ञान

आजकल सोशल मीडिया पर Manifestation शब्द काफी ट्रेंड कर रहा है। इसका मतलब है Law… Read More

अगस्त 22, 2025 4:59 अपराह्न IST
  • Politics

राहुल गांधी की सुरक्षा बढ़ाने की मांग, अजय राय ने अमित शाह को लिखा पत्र

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय ने केंद्रीय गृह मंत्री… Read More

अगस्त 22, 2025 4:23 अपराह्न IST
  • New Delhi

सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मेनका गांधी की प्रतिक्रिया: ‘फीडिंग ज़ोन से मिलेगी राहत

भारतीय जनता पार्टी (BJP) नेता और पशु अधिकार कार्यकर्ता मेनका गांधी ने सुप्रीम कोर्ट के… Read More

अगस्त 22, 2025 4:04 अपराह्न IST
  • Politics

विजय ने मदुरई ईस्ट से चुनाव लड़ने का किया ऐलान, DMK-BJP पर बोला हमला

तमिल सुपरस्टार और तमिलगा वेत्री कझगम (TVK) के अध्यक्ष विजय ने 2026 तमिलनाडु विधानसभा चुनावों… Read More

अगस्त 22, 2025 3:50 अपराह्न IST