समस्तीपुर जिले के उजियारपुर थाना क्षेत्र में शनिवार को एक सनसनीखेज वारदात हुई। सातनपुर गांव के पास बाइक सवार अज्ञात हमलावरों ने ताबड़तोड़ गोलियां चलाकर युवक विक्रम गिरी की हत्या कर दी। यह घटना दिनदहाड़े हुई और पूरे इलाके में दहशत का माहौल बन गया।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, जैसे ही विक्रम गिरी अपने घर से बाहर निकले, पहले से घात लगाए बैठे बदमाशों ने उन पर फायरिंग शुरू कर दी। बदमाशों ने करीब एक दर्जन राउंड गोलियां चलाईं। गोलियां लगते ही विक्रम की मौके पर ही मौत हो गई। वारदात के बाद हमलावर खुलेआम हथियार लहराते हुए वहां से फरार हो गए।
गोलियों की आवाज सुनते ही पूरे गांव में अफरा-तफरी मच गई। लोग अपने घरों में दुबक गए और पूरे इलाके में भय का वातावरण फैल गया। जब तक पुलिस मौके पर नहीं पहुंची, तब तक लोग घटनास्थल के पास जाने से डर रहे थे।
सूचना मिलते ही उजियारपुर थाना पुलिस घटनास्थल पर पहुंची। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम की प्रक्रिया शुरू की। इलाके की सीमाओं को तुरंत सील कर नाकेबंदी कर दी गई। आसपास के इलाकों में तलाशी अभियान भी चलाया गया ताकि हमलावरों को जल्द से जल्द पकड़ा जा सके।
पुलिस जांच में सामने आया कि मारा गया युवक विक्रम गिरी खुद भी आपराधिक प्रवृत्ति का था। वह महज दो माह पहले ही हत्या के एक मामले में जेल से जमानत पर बाहर आया था।
उसके खिलाफ कई संगीन आपराधिक मामले दर्ज थे। इनमें चर्चित नेपाली चौधरी हत्याकांड भी शामिल है। पुलिस का मानना है कि उसकी हत्या किसी आपसी रंजिश या Gang Rivalry का नतीजा हो सकती है।
पुलिस को आशंका है कि विक्रम की हत्या पुरानी दुश्मनी या गैंगवार के चलते हुई है। अक्सर इस तरह की वारदातें इलाके में वर्चस्व की लड़ाई, सुपारी किलिंग या पुराने हिसाब-किताब से जुड़ी होती हैं।
जांच एजेंसियां विक्रम गिरी के हाल के संपर्कों और कॉल डिटेल्स को खंगाल रही हैं ताकि हमलावरों तक पहुंचा जा सके।
सातनपुर और आसपास के गांवों के लोग घटना के बाद से बेहद डरे हुए हैं। ग्रामीणों का कहना है कि दिनदहाड़े इतनी बड़ी वारदात होना सुरक्षा पर सवाल खड़ा करता है। कई लोग अब शाम होते ही घरों से बाहर निकलने से बच रहे हैं।
यह घटना बिहार में Law and Order की स्थिति पर एक बार फिर सवाल उठाती है। विपक्ष लगातार राज्य सरकार को अपराध नियंत्रित करने में नाकाम बताता रहा है। समस्तीपुर और आसपास के इलाकों में आए दिन Crime News सुर्खियों में रहती है।
विशेषज्ञों का कहना है कि जब तक आपराधिक गिरोहों पर कड़ी कार्रवाई नहीं होगी, इस तरह की वारदातें रुकने वाली नहीं हैं।
पुलिस ने अज्ञात बाइक सवार हमलावरों को पकड़ने के लिए बड़ा सर्च ऑपरेशन शुरू किया है। CCTV फुटेज खंगाले जा रहे हैं और गांव के लोगों से पूछताछ हो रही है। साथ ही विक्रम गिरी की गतिविधियों की भी पड़ताल की जा रही है ताकि हत्या के पीछे की साजिश का पता लगाया जा सके।
Vikram Giri Murder Case ने समस्तीपुर को हिला कर रख दिया है। दिनदहाड़े हुई इस वारदात ने ग्रामीणों के बीच डर का माहौल पैदा कर दिया है। पुलिस को शक है कि यह Gang Rivalry का नतीजा है और इसके पीछे पुराने आपराधिक हिसाब-किताब हो सकते हैं।
हालांकि पुलिस ने जांच तेज कर दी है और हमलावरों को पकड़ने के लिए नाकेबंदी भी कर दी गई है, लेकिन यह घटना साफ दिखाती है कि बिहार में Law and Order की चुनौती अभी भी गंभीर है।
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